शेयर बाजार से जुड़े आशीष अग्रवाल के मुताबिक मुहूर्त ट्रेडिंग में निवेशक व ब्रोकर्स मूल्य-आधारित स्टाक खरीदते हैं, जो लंबी अवधि के लिए अच्छे होते हैं। निवेशक मानते हैं कि दीपावली के दिन कुछ भी नया काम शुरू करने के लिए शुभ माना जाता है। ऐसे में कई निवेशक इस विशेष मुहूर्त ट्रेडिंग सत्र के दौरान शेयर बाजार में अपना पहला निवेश करते हैं। दीपावली के दिन नया ट्रेडिंग सोशल ट्रेडिंग क्या है? करने को ज्यादा शुभ माना जाता है।
मुहूर्त ट्रेडिंग पर निवेशकों की रही बल्ले-बल्ले, गोरखपुर में हुआ 50 करोड़ से अधिक का कारोबार
Muhurta Trading दीपावली के दिन शेयर बाजार में मुहूर्त ट्रेडिंग का विशेष महत्व है। अधिकांश लोग इस दिन शेयर खरीदते हैं। यह निवेश काफी छोटे व प्रतीकात्मक होते हैं। दीपावली के दिन गोरखपुर में मुहुर्त ट्रेडिंग में पचास करोड़ रुपये से अधिक का कारोबार हुआ।
गोरखपुर, जागरण संवाददाता। दीपावली पर हमेशा की तरह इस बार भी मुहूर्त ट्रेडिंग के दौरान शेयर बाजार गुलजार रहा। मुहूर्त ट्रेडिंग के लिए सोमवार की शाम 6.15 से 7.15 बजे तक एक घंटे की ट्रेडिंग हुई। दिवाली पर हुए विशेष मुहूर्त ट्रेडिंग के दौरान सेंसेक्स 525 अंक चढ़ा है, जबकि निफ्टी 17700 के पार पहुंच गया। बाजार में बैंकिंग सेक्टर के शेयरों में मजबूती दिखी। मुहूर्त ट्रेडिंग के अंत में निफ्टी 154 अंक चढ़कर 17731 तो सेंसेक्स 525 अंक चढ़कर 59,832 अंक पर बंद हुआ। इस दौरान बैंक रोड स्थित शेयर ब्रोकर्स व निवेशकों ने ने शुभ लाभ वाली दीपावली मनाते हुए खरीदारी की। एक घंटे के दौरान गोरखपुर में 50 करोड़ से अधिक का कारोबार हुआ।
प्रमुख शेयरों की खरीदारी कर मनाई शुभ लाभ वाली दीपावली
शेयरखान के ब्रोकर अशोक प्रजापति ने बताया कि सोचा नहीं था ऐसा बाजार इतनी बढ़त के साथ खुलेगा। इस बार पिछले साल से शेयर बाजार अच्छा रहा। मुहूर्त ट्रेडिंग के दौरान निवेशकों ने अच्छा पैसे बनाए हैं। आइआइएफएल के एमडी आशीष अग्रवाल ने बताया कि मुहूर्त ट्रेडिंग के दौरान सेंसेक्स में उछाल से निवेशक काफी उत्साहित दिखे। अधिकांश निवेशकों ने बैंकिंग सेक्टर में निवेश करते हुए शेयरों की खरीदारी की। निवेशक दिव्या ने बताया कि शेयर बाजार में तेजी देख मैंने मुहूर्त ट्रेडिंग किया है। बैंकिंग सेक्टर में मैंने पैसे लगाए हैं। एक घंटे में अच्छा फायदा हुआ है। उन्होंने बताया सोशल ट्रेडिंग क्या है? कि हम पहले से शेयर पर नजर बनाए हुए थे। जैसे ही बाजार खुला वैसे ही हमने अच्छे शेयरों की खरीदारी की। इने शेयर को अच्छा मुनाफा होने बाद ही बेचेंगे।
क्या है मुहूर्त ट्रेडिंग
यूं तो दीपावली के दिन शेयर बाजार बंद रहता है पर एक खास परंपरा के तहत यह एक घंटे के लिए खुलता है। इस दिन शेयरों की खरीद-बिक्री भी होती है। जिसे मुहूर्त ट्रेडिंग कहा जाता है। इस सोशल ट्रेडिंग क्या है? एक घंटे में निवेशक अपना छोटा निवेश करके बाजार की परंपरा को निभाते हैं। ऐसी मान्यता है कि इस दिन मुहूर्त ट्रेडिंग से समृद्धि आती है और पूरे साल निवेशकों पर धन बरसता है।
निवेशकों के लिए खास है मुहूर्त ट्रेडिंग
ऐसे तो दीपावली के दिन शेयर बाजार बंद रहता है पर एक खास परंपरा के तहत यह एक घंटे के लिए खुलता है। इस दिन शेयरों की खरीद-बिक्री भी होती है। जिसे मुहूर्त ट्रेडिंग कहा जाता है। इस एक घंटे में निवेशक अपना छोटा निवेश करके बाजार की परंपरा को निभाते हैं। ऐसी मान्यता है कि इस दिन मुहूर्त ट्रेडिंग से समृद्धि आती है और पूरे साल निवेशकों पर धन बरसता है।
'Social trade scam'
पुलिस के मुताबिक जब इस घोटाले का खुलासा होने वाला था, उसी दौरान अनुभव मित्तल ने अपने पिता की पिलखुवा स्थित कंपनी मित्तल इलेक्ट्रॉनिक्स में पांच करोड़ रुपये डाइवर्ट कर दिए, जो पूरा पैसा निवेशकों का था.
Delhi-NCR | Reported by: मुकेश सिंह सेंगर, Edited by: सुनील कुमार सिरीज |मंगलवार फ़रवरी 14, 2017 07:03 PM IST
शक है कि कंपनी ने इसके जरिये सैकड़ों रुपये की ठगी की है. इसके पहले सोशल ट्रेडिंग के जरिये 3700 करोड़ का घपला करने का एक और मामला सामने आ चुका है. नोएडा की बेववर्क कंपनी के बाहर अब बोर्ड पर लिखा है कि कंपनी का कामकाज किसी कारण से 20 अप्रैल तक बंद है. बाहर खड़े लोग खुद को ठगा महसूस कर रहे हैं.
Delhi-NCR | Reported by: मुकेश सिंह सेंगर, Edited by: प्रवीण प्रसाद सिंह |बुधवार फ़रवरी 8, 2017 07:33 PM IST
गुड़गांवः ऑनलाइन सोशल ट्रेडिंग के नाम पर करोड़ों की धोखाधड़ी
- गुडगांव,
- 25 मार्च 2017,
- (अपडेटेड 25 मार्च 2017, 4:54 PM IST)
नोएड़ा के बाद अब हरियाणा के गुड़गांव में ऑनलाइन सोशल ट्रेडिंग के नाम पर धोखाधड़ी करने का मामला सामने आया है. जहां कई लोगों ने वेबक्लिक नामक कंपनी पर उनके साथ फ्रॉड करने का आरोप लगाया है. इस कंपनी के तार भी नोएडा से जुड़े बताए जा रहे हैं. अब सभी पीड़ित पुलिस से मदद की गुहार लगा रहे हैं.
गुड़गांव के रहने वाले कई लोग शनिवार को पुलिस आयुक्त के कार्यालय पहुंचे और वेबक्लिक नामक एक कंपनी पर ऑनलाइन सोशल ट्रेडिंग के नाम पर करोड़ों रुपये का फ्रॉड करने का आरोप लगाया. इन सभी पीड़ितो को पुलिस कमिश्नर ने सोमवार को मिलने के लिए दोबारा बुलाया है.
Child on social media: 77% बच्चे फेक डेट ऑफ बर्थ से बना रहे सोशल मीडिया अकाउंट,जानें क्या है मिनिमम एज का नियम
Children and Social Media: रिसर्च से पता चलता है कि 8 से 17 साल की उम्र के ज्यादातर यानी करीब 77 प्रतिशत सोशल मीडिया यूजर्स का अपना अकाउंट या प्रोफाइल कम से कम एक बड़े सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर है.
Children and social Media: ब्रिटेन के मीडिया वाचडॉग ऑफकॉम ने मंगलवार को कहा कि 8 से 17 साल के बीच के एक तिहाई से ज्यादा बच्चे (Children) फर्जी जन्म तिथि (फेक डेट ऑफ बर्थ) के साथ साइन अप करने के बाद अलग-अलग सोशल मीडिया (Social Media) प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल कर रहे हैं. ऑफकॉम ने एक बयान में कहा कि हमारे लेटेस्ट रिसर्च से पता चलता है कि 8 से 17 साल की उम्र के ज्यादातर यानी करीब 77 प्रतिशत सोशल मीडिया यूजर्स का अपना अकाउंट या प्रोफाइल कम से कम एक बड़े सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर है. न्यूज एजेंसी IANS की खबर के मुताबिक, जब वे ऑनलाइन नहीं होते हैं, तब भी उनके दोस्तों और स्कूलमेट्स के साथ बातचीत अक्सर लेटेस्ट सोशल मीडिया या ऑनलाइन गेमिंग रुझानों पर केंद्रित होती है.
सोशल मीडिया ऐप पर अकाउंट बनाने की न्यूनतम आयु
ऑफकॉम ने कहा, अगर बच्चे इन प्लेटफार्मों पर नहीं हैं, तो वे बातचीत और यहां तक कि फ्रेंड्सग्रुप से भी बाहर महसूस कर सकते हैं. खबर रिसर्च से पता चला है सोशल ट्रेडिंग क्या है? कि कई बच्चों, विशेष रूप से कम आयु वर्ग (आठ और 12 के बीच) ने अपने माता-पिता या अभिभावकों से अपने सोशल मीडिया अकाउंट स्थापित करने में मदद की थी. अधिकतर सोशल मीडिया ऐप पर अकाउंट (Children and social Media) बनाने की न्यूनतम आयु 13 वर्ष है, जिसमें कई प्लेटफॉर्म यूजर्स को अपना अकाउंट सेट करते समय अपनी उम्र खुद घोषित करने के लिए कहते हैं.
ऑफकॉम ने कहा, ऐसा करने वाले कुछ बच्चों ने हमें बताया कि उन्होंने प्रोफाइल में खुद की उम्र बड़ी बताई हुई है. ज्यादा उम्र के साथ प्रोफाइल बनाने के लिए वे जो वजह देते हैं, उनमें से एक यह है कि जब बच्चे की उम्र में उनकी प्रोफाइल (child on social media) रजिस्टर्ड होती है, तो उन्हें ज्यादा सीमित अनुभव हासिल होता है, और इसलिए जानबूझकर बड़े के रूप में रजिस्टर करते हैं. पिछले महीने, आयरलैंड के डेटा संरक्षण आयोग ने ऐसे फर्जी अकांउट की जांच के बाद मेटा पर 405 मिलियन यूरो का जुर्माना लगाया.
नज (Nudge) क्या है?
नज हमारे ट्रेडिंग प्लेटफॉर्म, Kite पर दिखाए जाने वाले रीयल-टाइम अलर्ट हैं, जो ट्रेड करने से पहले, यूज़र को किसी ख़ास ट्रेड से जुड़े रिस्क के बारे में चेतावनी देता हैं। नज अलर्ट ऑर्डर विंडो पर दिखाई देते हैं।
यहाँ कुछ उदाहरण दिए गए हैं, जहाँ नज दिखाई देते हैं:
T2T शेयर्स में ट्रेड करते समय यह नज दिखाई देता है। एक्सचेंज ऐसे शेयर्स को ट्रेड टू ट्रेड (T2T) सेगमेंट में ट्रांसफर कर देता है, जो बहुत ही ज़्यादा स्पेक्युलेटिव (speculative) होते है या फिर प्राइस को मनिप्यलैट (manipulate) कर सकतें है। ट्रेड-टू-ट्रेड (T2T) एक ऐसा सेगमेंट है, जहाँ शेयर केवल अनिवार्य डिलीवरी (T+2 या T+1 सेटलमेंट) के आधार पर ट्रेड (सभी बाय और सेल्ल ट्रांसक्शन) किए जातें हैं। इसका मतलब यह है कि T2T सेगमेंट में इंट्राडे और BTST ट्रेडों की अनुमति नहीं है।
डिलीवरी ट्रेड्स के साथ, आपके द्वारा बेचे जाने वाले स्टॉक को पहले आपके डीमैट अकाउंट से डेबिट किया जाता है, और फिर आपके द्वारा खरीदे गए स्टॉक को T+2 दिन पर आपके डीमैट अकाउंट में क्रेडिट किया जाता है। अधिक जानने के लिए देखिए ट्रेड टू ट्रेड या T2T स्टॉक क्या होते हैं?
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